निशांत (Nishant) सो रहा है।बाहर से आती इतनी अच्छी हवा में नींद आ जाना स्वाभाविक ही है।अक्सर लोग यात्रा में शायद इसी वजह से सो जाते हो।पर मैं नहीं सो पाता।विंडो सीट से पीछे छूटती दृश्य को देखना और नए जगह पहुँचने के बाद कि जिज्ञासा से मैं भरा रहता हूँ।अपनी अधिकतम रफ्तार में भागती यह ट्रेन बहुत सी छोटी-छोटी स्टेशनों पर हॉर्न बजाती हुई तेजी से निकल जाती है,उन स्टेशनों पे भी तो लोग किसी ट्रेन का इंतजार करते होंगे।
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| Photo : ACP |
सम्भवतः कल शाम तक यह ट्रेन हमें कोलकाता पहुँचा देगी।अभी तक कोलकाता में हमें दो होस्ट मिले थे जिनमें से एक ने अभी दो दिन पहले ही हमें होस्टिंग करने में अपनी असमर्थता जताया।
हमारे दूसरे होस्ट विनीत है।वे पेशे से एक इंजीनियर है।व एक वक्त पे एक ही व्यक्ति को होस्ट करते है।इसलिए हमें कोई और विकल्प भी ढूंढ़ना होगा।वैसे हमने कुछ अन्य लोगों को भी होस्ट करने का रिक्वेस्ट भेजा है।देखते है कल शाम तक कोई और होस्ट भी मिल ही जायेगा।
#ACP_in_Bhutan

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